श्रीशंकराचार्य जन्म-जयन्ती महोत्सव - 2017
आदि शंकराचार्यकी जन्मजयंती महोत्सव पर इस बार भगवान शंकराचार्य रचित
भज गोविंदम् के निम्न श्लोक पर चिंतन किया जाएगा। आज वैदिक धर्म जीवित है तो केवल आचार्यश्रीकी कृपा के कारण ही । हम आज अपने आप को हिन्दू कह सकते है क्योकि अवैदिक एवं पाखंड मतो की आँधी के सामने आचार्यश्री ने धर्मकी रक्षा की । भगवान वेदव्यास और आचार्य शंकरके लिए अपन रक्त बहा दे, और प्राणोको न्योछावर कर दे, तो भी कम है । कम से कम उनकी जन्मजयंती पर उनके पूजनसे और उनकी रचनाओका गुणानुवाद करके अपने हिन्दू होनेका प्रमाण दे ।
रथ्याचर्पटविरचितकन्थः पुण्यापुण्यविवर्जितपन्थः ।
नाहं न त्वं नायं लोकस्तदपि किमर्थं क्रियते शोकः ॥
दिनांक 30-4-2017
समय: 7:30 सायम्
विषय: भज गोविन्दम्
प्रवक्ता : डॉ. गार्गी पंडित
स्थल: शिवोsहम्
गोत्री सेवासी रॉड,
नर्मदा केनालके सामने,
शैषव स्कूल के पास,
वटोदरम् ।
निमन्त्रक : सनातन वैदिक धर्मानुरागी ट्रस्ट, वटोदरम् ।